◆ मुख्यमंत्री ने जनता के नाम दिया संदेश ◆ जिन परिवारों के पास राषन कार्ड नहीं हैं, उन्हें भी जीविका समूहों के माध्यम से चिन्हित कर उनकी मदद की जायेगी ◆ सभी लोग सचेत एवं सतर्क रहेंगे, तभी स्वस्थ रहेंगे ◆ राशन कार्डधारी, पेंशनधारी, किसान, वृद्धजन, दिव्यांगजन, चिकित्साकर्मी, छात्र-छात्रा, दिहाड़ी मजदूर, ठेला वेंडर, रिक्षा चालक तथा अन्य जरूरतमंद व्यक्तियों को हरसंभव मदद कर रही है सरकार पटना :- मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जनता के नाम संदेश देते हुये कहा कि कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण पूरी मानव जाति संकट के दौर से गुजर रही है। देश में भी कोरोना वायरस संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैं। इस महामारी की गंभीरता को देखते हुये प्रत्येक व्यक्ति का सचेत रहना नितांत आवष्यक है। सोशल डिस्टेंसिंग ही इसका एकमात्र प्रभावी उपाय है। कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण को देखते हुये समाज के व्यापक हित में लॉकडाउन को 3 मई तक बढ़ाया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार सभी बिहारवासियों की पूरी मदद कर रही है। बिहार के बाहर दूसरे राज्यों में फंसे लोगों के लिये हमलोग दूसरे राज्यों से समन्वय कर आवष्यक मदद उपलब्ध करा रहे हैं। राज्य के बाहर फंसे बिहार के मजदूरों एवं जरुरतमंद व्यक्तियों के लिए मुख्यमंत्री राहत कोष से आपदा प्रबंधन विभाग के माध्यम से सहायता राशि के रुप में मुख्यमंत्री विशेष सहायता अंतर्गत 1,000 रुपये प्रति व्यक्ति की दर से राशि लोगों के खाते में अंतरित की जा रही है। अब तक 10 लाख 11 हजार लोगों के खाते में राशि अंतरित की जा चुकी है। अभी लगातार आवेदन प्राप्त हो रहे हैं, शीघ्र ही जाँचोपरांत उन सभी के खातों में भी राशि अंतरित कर दी जायेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि बिहार फाउण्डेशन के माध्यम से भी देश के 9 राज्यों के 12 शहरों में 50 से अधिक राहत केन्द्र चलाये जा रहे हैं, जहॉ पर लोगों को भोजन तथा राशन सामग्री भी दी जा रही है। अभी तक 7 लाख 66 हजार 920 लोग इसका लाभ उठा चुके हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि बिहार के सभी राशनकार्ड धारियों को एक हजार रूपये की राशि दी जा रही है। इसके अन्तर्गत अब तक 94 लाख 85 हजार कार्ड धारियों को राशि अंतरित कर दी गयी है। शेष कार्ड धारियों के खाते में भी राशि शीघ्र अंतरित कर दी जायेगी। साथ ही यह भी निर्णय लिया गया है कि जिन परिवारों के पास राशन कार्ड नहीं है उन्हें भी जीविका समूहों के माध्यम से चिन्ह्ति कर उनकी मदद की जायेगी। इसके लिये जीविका द्वारा ऐसे परिवारों की पहचान का कार्य प्रारंभ कर दिया गया है तथा शीघ्र ही इन परिवारों की पहचान कर उनकी भी मदद की जायेगी। मुख्यमंत्री ने अपने संदेश में कहा कि बिहार सरकार बिहार के विभिन्न शहरों में फँसे दिहाड़ी मजदूरों, ठेला वेंडरों, रिक्षा चालकों आदि के लिये 150 आपदा राहत केन्द्र चला रही है। इनमें भोजन, आवासन एवं चिकित्सकीय जाँच की सुविधायें उपलब्ध हैं। यदि जरूरत पड़ी तो इनकी संख्या भी बढ़ायी जायेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार सभी लोगों को सहायता उपलब्ध कराने का पूरा प्रबंध कर रही है। मैं आप सभी से अनुरोध करता हूॅ कि आप जहाँ हैं, वहीं रहें। यदि आपको कोई कष्ट या समस्या है तो आपदा प्रबंधन विभाग के नियंत्रण कक्ष अथवा स्थानिक आयुक्त के कार्यालय, बिहार भवन नई दिल्ली के नियंत्रण कक्ष के दूरभाष के माध्यम से सूचना दें। आपकी हर संभव मदद की जायेगी। बिहार के बाहर फंसे लोग बिहार में रह रहे अपने निकट संबंधी एवं परिवार के सदस्यों के लिये परेशान न हों। हम उनका भी ध्यान रख रहे हैं। वर्तमान परिस्थिति में लॉकडाउन समाज के व्यापक हित में है। आपलोग यदि सोशल डिस्टेंसिंग का पालन ठीक से करेंगे तो आप अपने आपको, अपने परिवार को एवं समाज को इस बड़ी विपत्ति से बचा पायेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि बिहार में पल्स पोलियो अभियान की तर्ज पर कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिये प्रभावित जिलों में डोर टू डोर स्क्रीनिंग की जा रही है। आप इसमें सहयोग करें और अपनी स्क्रीनिंग करायें। जिन्हें संक्रमण की थोड़ी सी भी आषंका हो, वे तुरंत जॉच करायें तथा अपनी टै्रवल हिस्ट्री न छुपायें। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना संक्रमण से निपटने में स्वास्थ्यकर्मी, पुलिसकर्मी तथा संलग्न पदाधिकारी एवं कर्मचारी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। हम सबका दायित्व है कि उनके साथ विनम्रता से पेष आयें और उनके साथ किसी प्रकार का दुर्व्यवहार न करें। मुख्यमंत्री ने लोगों से अपील करते हुये कहा कि मेरा पुनः आप सबसे अनुरोध है कि जो जहॉ हैं वहीं रहें। परेषान न हों। चाहे राशन कार्डधारी हों, पेंशनधारी हों, किसान हों, वृद्धजन हों, दिव्यांगजन हों, चिकित्साकर्मी हों, छात्र-छात्रायें हों या दिहाड़ी मजदूर, ठेला वेंडर, रिक्षा चालक तथा अन्य जरूरतमंद व्यक्ति हों, सरकार द्वारा सभी को हरसंभव मदद की जा रही है। अन्य बीमारियों के इलाज की भी समुचित व्यवस्था की गयी है। आप सभी लोग सचेत एवं सतर्क रहेंगे, तभी स्वस्थ रहेंगे। मुझे पूरी उम्मीद है कि आप सबके सहयोग से हम सब इस महामारी पर विजय प्राप्त करने में सफल होंगे। बिहार झारखंड स्टेट हेड शिव शंकर झा की रिपोर्ट

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◆ मुख्यमंत्री ने जनता के नाम दिया संदेश

◆ जिन परिवारों के पास राषन कार्ड नहीं हैं, उन्हें भी         जीविका समूहों के माध्यम से चिन्हित कर उनकी मदद की जायेगी

◆ सभी लोग सचेत एवं सतर्क रहेंगे, तभी स्वस्थ रहेंगे

◆  राशन कार्डधारी, पेंशनधारी, किसान, वृद्धजन, दिव्यांगजन, चिकित्साकर्मी, छात्र-छात्रा, दिहाड़ी मजदूर, ठेला वेंडर, रिक्षा चालक तथा अन्य जरूरतमंद व्यक्तियों को हरसंभव मदद कर रही है सरकार

पटना  :- मुख्यमंत्री  नीतीश कुमार ने जनता के नाम संदेश देते हुये कहा कि कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण पूरी मानव जाति संकट के दौर से गुजर रही है। देश में भी कोरोना वायरस संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैं। इस महामारी की गंभीरता को देखते हुये प्रत्येक व्यक्ति का सचेत रहना नितांत आवष्यक है। सोशल डिस्टेंसिंग ही इसका एकमात्र प्रभावी उपाय है। कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण को देखते हुये समाज के व्यापक हित में लॉकडाउन को 3 मई तक बढ़ाया गया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार सभी बिहारवासियों की पूरी मदद कर रही है। बिहार के बाहर दूसरे राज्यों में फंसे लोगों के लिये हमलोग दूसरे राज्यों से समन्वय कर आवष्यक मदद उपलब्ध करा रहे हैं। राज्य के बाहर फंसे बिहार के मजदूरों एवं जरुरतमंद व्यक्तियों के लिए मुख्यमंत्री राहत कोष से आपदा प्रबंधन विभाग के माध्यम से सहायता राशि के रुप में मुख्यमंत्री विशेष सहायता अंतर्गत 1,000 रुपये प्रति व्यक्ति की दर से राशि  लोगों के खाते में अंतरित की जा रही है। अब तक 10 लाख 11 हजार लोगों के खाते में राशि अंतरित की जा चुकी है। अभी लगातार आवेदन प्राप्त हो रहे हैं, शीघ्र ही जाँचोपरांत उन सभी के खातों में भी राशि अंतरित कर दी जायेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बिहार फाउण्डेशन के माध्यम से भी देश के 9 राज्यों के 12 शहरों में 50 से अधिक राहत केन्द्र चलाये जा रहे हैं, जहॉ पर लोगों को भोजन तथा राशन सामग्री भी दी जा रही है। अभी तक 7 लाख 66 हजार 920 लोग इसका लाभ उठा चुके हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बिहार के सभी राशनकार्ड धारियों को एक हजार रूपये की राशि दी जा रही है। इसके अन्तर्गत अब तक 94 लाख 85 हजार कार्ड धारियों को राशि अंतरित कर दी गयी है। शेष कार्ड धारियों के खाते में भी राशि शीघ्र अंतरित कर दी जायेगी।
साथ ही यह भी निर्णय लिया गया है कि जिन परिवारों के पास राशन कार्ड नहीं है उन्हें भी जीविका समूहों के माध्यम से चिन्ह्ति कर उनकी मदद की जायेगी। इसके लिये जीविका द्वारा ऐसे परिवारों की पहचान का कार्य प्रारंभ कर दिया गया है तथा शीघ्र ही इन परिवारों की पहचान कर उनकी भी मदद की जायेगी।
मुख्यमंत्री ने अपने संदेश में कहा कि बिहार सरकार बिहार के विभिन्न शहरों में फँसे दिहाड़ी मजदूरों, ठेला वेंडरों, रिक्षा चालकों आदि के लिये 150 आपदा राहत केन्द्र चला रही है। इनमें भोजन, आवासन एवं चिकित्सकीय जाँच की सुविधायें उपलब्ध हैं। यदि जरूरत पड़ी तो इनकी संख्या भी बढ़ायी जायेगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार सभी लोगों को सहायता उपलब्ध कराने का पूरा प्रबंध कर रही है। मैं आप सभी से अनुरोध करता हूॅ कि आप जहाँ हैं, वहीं रहें। यदि आपको कोई कष्ट या समस्या है तो आपदा प्रबंधन विभाग के नियंत्रण कक्ष अथवा स्थानिक आयुक्त के कार्यालय, बिहार भवन नई दिल्ली के नियंत्रण कक्ष के दूरभाष के माध्यम से सूचना दें। आपकी हर संभव मदद की जायेगी। बिहार के बाहर फंसे लोग बिहार में रह रहे अपने निकट संबंधी एवं परिवार के सदस्यों के लिये परेशान न हों। हम उनका भी ध्यान रख रहे हैं। वर्तमान परिस्थिति में लॉकडाउन समाज के व्यापक हित में है। आपलोग यदि सोशल डिस्टेंसिंग का पालन ठीक से करेंगे तो आप अपने आपको, अपने परिवार को एवं समाज को इस बड़ी विपत्ति से बचा पायेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बिहार में पल्स पोलियो अभियान की तर्ज पर कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिये प्रभावित जिलों में डोर टू डोर स्क्रीनिंग की जा रही है। आप इसमें सहयोग करें और अपनी स्क्रीनिंग करायें। जिन्हें संक्रमण की थोड़ी सी भी आषंका हो, वे तुरंत जॉच करायें तथा अपनी टै्रवल हिस्ट्री न छुपायें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना संक्रमण से निपटने में स्वास्थ्यकर्मी, पुलिसकर्मी तथा संलग्न पदाधिकारी एवं कर्मचारी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। हम सबका दायित्व है कि उनके साथ विनम्रता से पेष आयें और उनके साथ किसी प्रकार का दुर्व्यवहार न करें।
मुख्यमंत्री ने लोगों से अपील करते हुये कहा कि मेरा पुनः आप सबसे अनुरोध है कि जो जहॉ हैं वहीं रहें। परेषान न हों। चाहे राशन कार्डधारी हों, पेंशनधारी हों, किसान हों, वृद्धजन हों, दिव्यांगजन हों, चिकित्साकर्मी हों, छात्र-छात्रायें हों या दिहाड़ी मजदूर, ठेला वेंडर, रिक्षा चालक तथा अन्य जरूरतमंद व्यक्ति हों, सरकार द्वारा सभी को हरसंभव मदद की जा रही है। अन्य बीमारियों के इलाज की भी समुचित व्यवस्था की गयी है। आप सभी लोग सचेत एवं सतर्क रहेंगे, तभी स्वस्थ रहेंगे। मुझे पूरी उम्मीद है कि आप सबके सहयोग से हम सब इस महामारी पर विजय प्राप्त करने में सफल होंगे।


बिहार झारखंड स्टेट हेड शिव शंकर झा की रिपोर्ट

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